المَكتَبَةُ الشَّامِلَةُ السُّنِّيَّةُ

الرئيسية

أقسام المكتبة

المؤلفين

القرآن

البحث 📚

‌ ‌9 - {سَوَّاهُ} سوى خلقه في الرحم، أو سوى خلقه - تفسير العز بن عبد السلام - جـ ٢

[عز الدين بن عبد السلام]

فهرس الكتاب

- ‌1

- ‌2

- ‌3

- ‌5

- ‌6

- ‌7

- ‌9

- ‌12

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌24

- ‌26

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌32

- ‌33

- ‌34

- ‌36

- ‌37

- ‌38

- ‌39

- ‌40

- ‌41

- ‌42

- ‌46

- ‌47

- ‌48

- ‌49

- ‌50

- ‌51

- ‌52

- ‌55

- ‌57

- ‌58

- ‌60

- ‌61

- ‌63

- ‌64

- ‌67

- ‌69

- ‌72

- ‌73

- ‌74

- ‌75

- ‌79

- ‌80

- ‌81

- ‌82

- ‌83

- ‌84

- ‌86

- ‌87

- ‌88

- ‌90

- ‌91

- ‌92

- ‌93

- ‌97

- ‌98

- ‌99

- ‌100

- ‌101

- ‌102

- ‌106

- ‌107

- ‌108

- ‌109

- ‌110

- ‌111

- ‌112

- ‌114

- ‌115

- ‌117

- ‌118

- ‌119

- ‌122

- ‌123

- ‌124

- ‌125

- ‌126

- ‌128

- ‌129

- ‌1

- ‌3

- ‌4

- ‌7

- ‌9

- ‌10

- ‌11

- ‌12

- ‌24

- ‌26

- ‌30

- ‌36

- ‌37

- ‌39

- ‌45

- ‌47

- ‌53

- ‌58

- ‌62

- ‌64

- ‌71

- ‌73

- ‌78

- ‌85

- ‌87

- ‌88

- ‌89

- ‌92

- ‌93

- ‌94

- ‌98

- ‌100

- ‌105

- ‌108

- ‌1

- ‌2

- ‌3

- ‌5

- ‌6

- ‌7

- ‌8

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌22

- ‌23

- ‌27

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌35

- ‌36

- ‌37

- ‌38

- ‌40

- ‌41

- ‌43

- ‌44

- ‌46

- ‌52

- ‌61

- ‌62

- ‌63

- ‌67

- ‌68

- ‌69

- ‌70

- ‌71

- ‌72

- ‌73

- ‌74

- ‌77

- ‌78

- ‌79

- ‌80

- ‌81

- ‌82

- ‌83

- ‌84

- ‌86

- ‌87

- ‌88

- ‌89

- ‌91

- ‌92

- ‌93

- ‌99

- ‌100

- ‌101

- ‌105

- ‌106

- ‌107

- ‌108

- ‌109

- ‌113

- ‌114

- ‌116

- ‌118

- ‌119

- ‌120

- ‌1

- ‌2

- ‌4

- ‌6

- ‌7

- ‌8

- ‌9

- ‌10

- ‌12

- ‌13

- ‌15

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌22

- ‌23

- ‌24

- ‌25

- ‌26

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌33

- ‌35

- ‌36

- ‌37

- ‌38

- ‌40

- ‌41

- ‌42

- ‌44

- ‌45

- ‌46

- ‌47

- ‌48

- ‌49

- ‌50

- ‌52

- ‌53

- ‌54

- ‌55

- ‌56

- ‌57

- ‌58

- ‌59

- ‌61

- ‌62

- ‌63

- ‌64

- ‌65

- ‌66

- ‌67

- ‌68

- ‌69

- ‌70

- ‌72

- ‌73

- ‌75

- ‌76

- ‌77

- ‌78

- ‌79

- ‌80

- ‌81

- ‌82

- ‌83

- ‌84

- ‌85

- ‌86

- ‌87

- ‌88

- ‌89

- ‌90

- ‌91

- ‌92

- ‌93

- ‌94

- ‌95

- ‌96

- ‌97

- ‌98

- ‌99

- ‌100

- ‌101

- ‌102

- ‌106

- ‌108

- ‌109

- ‌110

- ‌111

- ‌1

- ‌2

- ‌3

- ‌4

- ‌5

- ‌6

- ‌7

- ‌8

- ‌10

- ‌11

- ‌12

- ‌13

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌21

- ‌22

- ‌24

- ‌26

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌33

- ‌35

- ‌36

- ‌38

- ‌39

- ‌41

- ‌43

- ‌1

- ‌3

- ‌5

- ‌6

- ‌9

- ‌10

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌21

- ‌22

- ‌23

- ‌24

- ‌25

- ‌26

- ‌27

- ‌28

- ‌31

- ‌37

- ‌43

- ‌44

- ‌46

- ‌48

- ‌49

- ‌50

- ‌1

- ‌2

- ‌5

- ‌8

- ‌9

- ‌10

- ‌12

- ‌13

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌21

- ‌22

- ‌24

- ‌26

- ‌27

- ‌38

- ‌39

- ‌40

- ‌41

- ‌46

- ‌47

- ‌53

- ‌54

- ‌55

- ‌60

- ‌65

- ‌66

- ‌72

- ‌75

- ‌76

- ‌78

- ‌79

- ‌80

- ‌82

- ‌85

- ‌87

- ‌88

- ‌90

- ‌91

- ‌93

- ‌94

- ‌95

- ‌97

- ‌99

- ‌1

- ‌2

- ‌4

- ‌5

- ‌8

- ‌14

- ‌16

- ‌18

- ‌26

- ‌32

- ‌43

- ‌44

- ‌47

- ‌50

- ‌52

- ‌53

- ‌58

- ‌59

- ‌62

- ‌67

- ‌68

- ‌69

- ‌70

- ‌71

- ‌75

- ‌76

- ‌77

- ‌81

- ‌83

- ‌90

- ‌91

- ‌92

- ‌97

- ‌98

- ‌99

- ‌100

- ‌101

- ‌103

- ‌106

- ‌112

- ‌119

- ‌120

- ‌112

- ‌123

- ‌124

- ‌125

- ‌126

- ‌128

- ‌1

- ‌2

- ‌3

- ‌4

- ‌5

- ‌6

- ‌7

- ‌8

- ‌9

- ‌11

- ‌12

- ‌13

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌20

- ‌23

- ‌25

- ‌26

- ‌28

- ‌31

- ‌33

- ‌34

- ‌35

- ‌36

- ‌37

- ‌44

- ‌45

- ‌47

- ‌49

- ‌50

- ‌51

- ‌52

- ‌53

- ‌54

- ‌57

- ‌60

- ‌62

- ‌64

- ‌71

- ‌73

- ‌75

- ‌76

- ‌78

- ‌79

- ‌80

- ‌81

- ‌83

- ‌84

- ‌85

- ‌90

- ‌92

- ‌93

- ‌97

- ‌100

- ‌101

- ‌102

- ‌103

- ‌104

- ‌106

- ‌110

- ‌111

- ‌1

- ‌2

- ‌6

- ‌7

- ‌8

- ‌9

- ‌10

- ‌14

- ‌11

- ‌12

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌21

- ‌22

- ‌24

- ‌25

- ‌26

- ‌27

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌33

- ‌34

- ‌37

- ‌41

- ‌42

- ‌43

- ‌46

- ‌47

- ‌48

- ‌49

- ‌50

- ‌51

- ‌52

- ‌55

- ‌56

- ‌58

- ‌59

- ‌60

- ‌61

- ‌62

- ‌65

- ‌66

- ‌68

- ‌71

- ‌73

- ‌74

- ‌76

- ‌77

- ‌78

- ‌79

- ‌80

- ‌81

- ‌82

- ‌83

- ‌84

- ‌85

- ‌86

- ‌89

- ‌90

- ‌93

- ‌94

- ‌95

- ‌96

- ‌97

- ‌98

- ‌99

- ‌101

- ‌102

- ‌103

- ‌105

- ‌107

- ‌108

- ‌109

- ‌110

- ‌1

- ‌3

- ‌4

- ‌5

- ‌6

- ‌7

- ‌8

- ‌10

- ‌11

- ‌12

- ‌13

- ‌16

- ‌18

- ‌23

- ‌24

- ‌25

- ‌26

- ‌27

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌32

- ‌33

- ‌34

- ‌38

- ‌39

- ‌46

- ‌47

- ‌50

- ‌52

- ‌54

- ‌56

- ‌57

- ‌58

- ‌59

- ‌62

- ‌64

- ‌65

- ‌68

- ‌69

- ‌70

- ‌71

- ‌73

- ‌74

- ‌76

- ‌77

- ‌78

- ‌80

- ‌82

- ‌83

- ‌84

- ‌85

- ‌86

- ‌87

- ‌89

- ‌96

- ‌98

- ‌1

- ‌{طه}

- ‌2

- ‌3

- ‌2

- ‌7

- ‌9

- ‌10

- ‌12

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌22

- ‌27

- ‌31

- ‌39

- ‌40

- ‌41

- ‌42

- ‌44

- ‌45

- ‌50

- ‌51

- ‌52

- ‌54

- ‌56

- ‌58

- ‌59

- ‌61

- ‌62

- ‌63

- ‌64

- ‌66

- ‌67

- ‌72

- ‌73

- ‌77

- ‌81

- ‌82

- ‌86

- ‌87

- ‌88

- ‌89

- ‌92

- ‌93

- ‌94

- ‌95

- ‌96

- ‌97

- ‌98

- ‌102

- ‌103

- ‌104

- ‌105

- ‌106

- ‌107

- ‌108

- ‌112

- ‌113

- ‌114

- ‌115

- ‌117

- ‌123

- ‌124

- ‌129

- ‌130

- ‌131

- ‌132

- ‌1

- ‌2

- ‌3

- ‌5

- ‌7

- ‌8

- ‌10

- ‌12

- ‌13

- ‌15

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌21

- ‌22

- ‌23

- ‌28

- ‌31

- ‌32

- ‌33

- ‌35

- ‌37

- ‌42

- ‌43

- ‌44

- ‌48

- ‌51

- ‌58

- ‌61

- ‌63

- ‌64

- ‌65

- ‌68

- ‌71

- ‌72

- ‌74

- ‌76

- ‌80

- ‌81

- ‌84

- ‌85

- ‌87

- ‌88

- ‌89

- ‌90

- ‌91

- ‌92

- ‌93

- ‌95

- ‌96

- ‌98

- ‌101

- ‌103

- ‌104

- ‌105

- ‌106

- ‌107

- ‌109

- ‌111

- ‌1

- ‌2

- ‌3

- ‌5

- ‌9

- ‌11

- ‌13

- ‌15

- ‌18

- ‌20

- ‌21

- ‌24

- ‌25

- ‌26

- ‌27

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌32

- ‌33

- ‌34

- ‌36

- ‌37

- ‌38

- ‌40

- ‌45

- ‌46

- ‌47

- ‌51

- ‌52

- ‌53

- ‌55

- ‌60

- ‌62

- ‌67

- ‌73

- ‌74

- ‌76

- ‌78

- ‌1

- ‌ الْمُؤْمِنُونَ}

- ‌2

- ‌3

- ‌10

- ‌11

- ‌13

- ‌14

- ‌20

- ‌24

- ‌25

- ‌27

- ‌29

- ‌37

- ‌41

- ‌46

- ‌47

- ‌50

- ‌52

- ‌53

- ‌54

- ‌55

- ‌56

- ‌60

- ‌61

- ‌63

- ‌64

- ‌66

- ‌67

- ‌72

- ‌74

- ‌79

- ‌80

- ‌88

- ‌89

- ‌96

- ‌97

- ‌98

- ‌100

- ‌101

- ‌106

- ‌108

- ‌110

- ‌112

- ‌117

- ‌1

- ‌2

- ‌4

- ‌5

- ‌6

- ‌8

- ‌10

- ‌11

- ‌12

- ‌15

- ‌21

- ‌22

- ‌26

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌32

- ‌33

- ‌35

- ‌36

- ‌37

- ‌38

- ‌39

- ‌40

- ‌41

- ‌43

- ‌44

- ‌45

- ‌48

- ‌49

- ‌50

- ‌54

- ‌55

- ‌58

- ‌59

- ‌60

- ‌61

- ‌62

- ‌63

- ‌1

- ‌{الْفُرْقَانَ}

- ‌4

- ‌7

- ‌8

- ‌9

- ‌13

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌21

- ‌22

- ‌23

- ‌24

- ‌25

- ‌27

- ‌28

- ‌30

- ‌32

- ‌39

- ‌40

- ‌43

- ‌45

- ‌46

- ‌47

- ‌48

- ‌49

- ‌50

- ‌52

- ‌53

- ‌54

- ‌55

- ‌60

- ‌61

- ‌62

- ‌63

- ‌65

- ‌67

- ‌68

- ‌69

- ‌70

- ‌72

- ‌73

- ‌74

- ‌75

- ‌77

- ‌1

- ‌3

- ‌4

- ‌7

- ‌13

- ‌14

- ‌16

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌22

- ‌32

- ‌36

- ‌54

- ‌55

- ‌56

- ‌58

- ‌60

- ‌61

- ‌62

- ‌63

- ‌64

- ‌78

- ‌83

- ‌84

- ‌86

- ‌89

- ‌94

- ‌95

- ‌100

- ‌101

- ‌111

- ‌116

- ‌118

- ‌128

- ‌129

- ‌130

- ‌138

- ‌148

- ‌149

- ‌153

- ‌182

- ‌183

- ‌184

- ‌187

- ‌193

- ‌195

- ‌196

- ‌200

- ‌212

- ‌218

- ‌219

- ‌224

- ‌225

- ‌226

- ‌227

- ‌1

- ‌2

- ‌3

- ‌4

- ‌6

- ‌7

- ‌8

- ‌10

- ‌11

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌21

- ‌22

- ‌23

- ‌25

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌32

- ‌33

- ‌34

- ‌35

- ‌36

- ‌37

- ‌38

- ‌39

- ‌40

- ‌41

- ‌42

- ‌43

- ‌44

- ‌45

- ‌46

- ‌47

- ‌48

- ‌49

- ‌50

- ‌54

- ‌60

- ‌61

- ‌62

- ‌63

- ‌66

- ‌72

- ‌75

- ‌82

- ‌83

- ‌87

- ‌88

- ‌89

- ‌90

- ‌91

- ‌93

- ‌4

- ‌5

- ‌7

- ‌8

- ‌9

- ‌10

- ‌11

- ‌12

- ‌13

- ‌14

- ‌15

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌22

- ‌23

- ‌24

- ‌25

- ‌26

- ‌27

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌34

- ‌38

- ‌40

- ‌41

- ‌42

- ‌43

- ‌46

- ‌48

- ‌51

- ‌52

- ‌54

- ‌55

- ‌56

- ‌57

- ‌58

- ‌59

- ‌61

- ‌66

- ‌68

- ‌75

- ‌76

- ‌77

- ‌78

- ‌79

- ‌81

- ‌82

- ‌83

- ‌85

- ‌88

- ‌2

- ‌3

- ‌4

- ‌5

- ‌8

- ‌13

- ‌14

- ‌21

- ‌26

- ‌27

- ‌29

- ‌41

- ‌45

- ‌46

- ‌48

- ‌49

- ‌52

- ‌53

- ‌56

- ‌57

- ‌58

- ‌60

- ‌64

- ‌67

- ‌69

- ‌ الروم

- ‌7

- ‌8

- ‌10

- ‌12

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌21

- ‌22

- ‌23

- ‌24

- ‌25

- ‌26

- ‌27

- ‌28

- ‌30

- ‌31

- ‌35

- ‌36

- ‌38

- ‌39

- ‌41

- ‌43

- ‌44

- ‌46

- ‌47

- ‌48

- ‌50

- ‌51

- ‌52

- ‌54

- ‌55

- ‌56

- ‌57

- ‌60

- ‌2

- ‌5

- ‌6

- ‌10

- ‌12

- ‌13

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌22

- ‌27

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌31

- ‌32

- ‌33

- ‌34

- ‌2

- ‌5

- ‌7

- ‌8

- ‌9

- ‌10

- ‌11

- ‌12

- ‌13

- ‌14

- ‌15

- ‌16

- ‌17

- ‌18

- ‌21

- ‌23

- ‌24

- ‌25

- ‌27

- ‌28

- ‌29

- ‌30

- ‌1

- ‌4

- ‌5

- ‌6

- ‌7

- ‌8

- ‌9

- ‌10

- ‌11

- ‌12

- ‌13

- ‌14

- ‌15

- ‌17

- ‌18

- ‌19

- ‌20

- ‌21

- ‌22

- ‌23

- ‌24

- ‌25

- ‌26

- ‌27

- ‌28

- ‌30

- ‌31

- ‌32

- ‌33

- ‌34

- ‌35

- ‌36

- ‌37

- ‌38

- ‌40

- ‌41

- ‌42

- ‌43

- ‌45

- ‌46

- ‌47

- ‌48

- ‌49

- ‌50

- ‌51

- ‌52

- ‌53

- ‌55

- ‌56

- ‌57

- ‌58

- ‌59

- ‌60

- ‌62

- ‌67

- ‌69

- ‌70

- ‌72

- ‌73

الفصل: ‌ ‌9 - {سَوَّاهُ} سوى خلقه في الرحم، أو سوى خلقه

‌9

- {سَوَّاهُ} سوى خلقه في الرحم، أو سوى خلقه كيف شاء {مِن رُّوحِهِ} قدرته، أو ذريته، إذ المراد بالإنسان آدم، أو من أمره أن يقول كن فيكون، أو روحاً من روحه أي خَلْقِه أضافه إلى نفسه لأنه من فعله وعبر عنه بالنفخ لأن الروح من جنس الريح. {والأَفْئِدَةَ} سمي القلب فؤاداً لأنه منبع الحرارة الغريزية من المفتأد وهو موضع النار. {وقالوا أءذا ضللنا في الأرض أءنا لفى خلق جديد بل هم بلقاء ربهم كافرون قل يتوفاكم ملك الموت الذى وكل بكم ثم إلى ربّكم ترجعون}

ص: 549

‌10

- {ضَلَلْنَا} هلكنا، أو صرنا رفاتاً وتراباً، وكل شيء غلب على غيره فخفي فيه أثره ضل، أو غُيِّبْنا، وبالصاد أنْتَنَّا من صَلَّ / [144 / أ] اللحم، أو صرنا بالصَلَّةِ وهي الأرض اليابسة ومنه الصلصال قيل: قاله أُبي بن خلف.

ص: 549

‌11

- {يتوفاكم} بأعوانه، أو بنفسه رآه الرسول [صلى الله عليه وسلم] عند رأس أنصاري فقال: أرفق بصاحبي فإنه مؤمن. فقال طِبْ نفساً وقر عيناً فإني بكل مؤمن رفيق.

ص: 549